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लट उलझी सुलझा जा रे मोहन

लट उलझी सुलझा जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी

बालो का गजरा गिर गया मेरा
अपने हाथ पहना जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी……..

कानो का झुमका गिर गया मेरा
अपने हाथ पहना जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी……

आंखो का काजल हट गया मेरा
अपने हाथ लगा जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी……..

माथे की बिनदिया बिखर गयी मेरी
अपने हाथ सजा जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी………

हाथो का कंगना गिर गया मेरा
अपने हाथ पहना जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी……..

पाव की पायल गिर गयी मेरी
अपने हाथ पहना जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी……..

सिर की चुनरी उड्ड गयी मेरी
अपने हाथ ओढ जा रे मोहन
मेरे हाथ मेहंदी लगी………

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